Arvind Kejriwal Bail: अरविंद केजरीवाल को आज सुप्रीम कोर्ट से अंतरिम जमानत मिल गई है। दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की जमानत याचिका पर सुनवाई करते समय सुप्रीम कोर्ट ने जो संकेत दिये थे, उससे आम आदमी पार्टी की उम्मीदें जगी हैं। ऐसा माना जा रहा है कि लोकसभा चुनाव से पहले अरविंद केजरीवाल के बाहर आने से AAP के चुनाव प्रचार को गति मिलेगी। दिल्ली में आप और कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ रहे हैं, तो कांग्रेस को कुछ लाभ हो सकता है। हालांकि, प्रवर्तन निदेशालय ने केजरीवाल की जमानत का विरोध किया है और इसे लेकर एक हलफनामा भी दायर किया है। अरविंद केजरीवाल को बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को केजरीवाल को अंतरिम जमानत दे दी। पिछली सुनवाई में ही सुप्रीम कोर्ट ने इस बात के संकेत दे दिए थे। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को 1 जून तक अंतरिम जमानत दी है। कोर्ट ने केजरीवाल को 2 जून को सरेंडर करने को कहा है।
अभी तक के चुनावी घमासान को देखते हुए, दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल के लिए समस्या के बादल छटते हुए दिखाई दिए हैं। दिल्ली घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस में ईडी की लगातार जांच का सामना कर रहे दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल को अब बड़ी राहत मिली है। जिसमें सुप्रीम कोर्ट से उन्हें 1 जून तक के लिए अंतरिम जमानत दी गई है।
गोवा हवाल कांड Arvind Kejriwal Bail:
दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल को दिल्ली शराब नीति से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग जांच के सिलसिले में 21 मार्च को ईडी ने गिरफ्तार किया था। केजरीवाल पर और उनकी सरकार में कुछ मंत्रियों पर आरोप हैं कि उन्होंने कुछ व्यक्तियों को लाभ पहुंचाने की साजिश में दिल्ली की आबकारी नीति में बदलाव किया इस लाभ के बदले शराब व्यापारियों से पेशा लेकर हवाल के जरिये गोवा विधानसभा चुनान में रिश्वत के पैसे का इस्तेमाल करने के लिए भेजा गया। More News
दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद अरविंद केजरीवाल की जमानत की मंजूरी देते हुए। पहली सुनवाई में ही सुप्रीम कोर्ट ने जो संकेत दिए थे उससे केजरीवाल कि पार्टी को उम्मीद थी कि आज की सुनवाई में अरविन्द केजरीवाल की जमानत हो जाएगी।
ऐसे शुरू हुआ पूरा मामला
Arvind Kejriwal Bail: दिल्ली की नई शराब नीति केजरीवाल सरकार की गले की फांस बनी हुई है। हालांकि, दिल्ली सरकार ने इसे वापस ले लिया है। 17 नवंबर 2021 को दिल्ली सरकार ने राज्य में नई शराब नीति लागू की। इसके तहत राजधानी में 32 जोन बनाए गए। हर जोन में ज्यादा से ज्यादा 27 दुकानें खुलनी थीं। इस तरह से कुल मिलाकर 849 दुकानें खुलनी थीं। नई शराब नीति में दिल्ली की सभी शराब की दुकानों को प्राइवेट कर दिया गया। इसके पहले दिल्ली में शराब की 60 प्रतिशत दुकानें सरकारी और 40 प्रतिशत प्राइवेट थीं। नई नीति लागू होने के बाद 100 प्रतिशत प्राइवेट हो गईं। सरकार ने तर्क दिया था कि इससे 3,500 करोड़ रुपये का फायदा होगा। 22 मार्च 2021 की बात है जिसमें दिल्ली के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने नई शराब नीति का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि माफिया राज की रीड की हड्डी तोड़नी है। सरकारी खजाना में इजाफा होगा। तब तक दिल्ली में शराब की 60 फीसदी दुकानें सरकारी और 40 फीसदी दुकानें प्राइवेट थीं। जिसके बाद 17 नवंबर 2021 को दिल्ली सरकार ने नई शराब नीति 2021-22 लागू की गई। शराब की सारी दुकानें 100 फीसदी प्राइवेट हो गईं। दिल्ली को 32 जोन में बांटा गया।
विवाद बढ़ता देख दिल्ली सरकार ने 28 जुलाई 2022 को नई शराब पॉलिसी रद्द कर दी और पुरानी पॉलिसी फिर से लागू कर दी। सीबीआई ने केस दर्ज किया और 17 अगस्त 2022 जांच शुरू की। इसमें तीन रिटायर्ड सरकारी अधिकारी, 9 बिजनेसमैन और 2 कंपनियों को आरोपी बताया गया। जिसमें मनीष सिसोदिया पर भी भ्रस्टाचार से जुड़ी कई धाराओं में केश दर्ज किये गए। जिसके चलते ED ने 22 अगस्त 2022 को उन्हें गिरफ्तार किया था।लेकिन आज अरविंद केजरीवाल को सुप्रीम कोर्ट की मंजूरी से अंतरिम जमानत मिल गई है।